
मेरे शब्द

मेरे शब्द
स्वर होगा नहीं पर
शब्द मेरे रह जाएंगे
कुछ पढ़ने वाले पढ़ लेंगे
कुछ शायद गुनगुनायेंगे
कुछ याद करके मुस्कुरा देंगे
कुछ हँस के भूल जाएंगे
स्वर होगा नहीं पर
शब्द मेरे रह जाएंगे
मेरे किरदार को दुनिया में
गर कोई फिर जी पाएगा
वो ही जानेगा भाव मेरे
जो मुझसा ही मुझको पाएगा।।
मेरी पहचान ही क्या
एक हँसी मेरी एक नाम
कुछ शब्द मेरे या मेरी कलम
कुछ रिश्ते मेरे
बाकी मेरे करम।।
मीनू यतिन
Photo by RODNAE Productions from Pexels
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